महादेव ऐप: रणबीर के बाद ईडी के रडार पर कपिल, हुमा और हीना; क्या है मामले का छत्तीसगढ़ कनेक्शन?

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Mahadev Betting App Case- प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने महादेव सट्टेबाजी ऐप मामले से जुड़ी मनी लॉन्ड्रिंग जांच के सिलसिले में कॉमेडियन कपिल शर्मा (Kapil Sharma), अभिनेत्री हुमा कुरैशी (Huma Qureshi) और हिना खान (Hina Khan) को अलग-अलग तारीखों पर पूछताछ के लिए बुलाया है. यहां हम आपको बताएंगे कि बॉलीवुड हस्तियां कैसे इस मामले से जुड़ी हैं और आखिर इसका छत्तीसगढ़ कनेक्शन क्या है?

संघीय जांच एजेंसी ने पहले ही बॉलीवुड अभिनेता रणबीर कपूर को 6 अक्टूबर को रायपुर स्थित अपने क्षेत्रीय कार्यालय में पूछताछ के लिए बुलाया था. समझा जाता है कि उन्होंने पेश होने के लिए करीब दो सप्ताह का समय मांगा है. अधिकारियों ने कहा कि तलब किए जाने वाले और तीन हस्तियों को अलग-अलग तारीखों पर एजेंसी के रायपुर कार्यालय में उपस्थित होने के लिए कहा गया है.

एजेंसी मनी लॉन्ड्रिंग अधिनियम (पीएमएलए) के प्रावधानों के तहत उनका बयान दर्ज करेगी और ऐप प्रमोटरों के कथित तौर पर उन्हें किए गए भुगतान के तरीके और प्रवाह को समझने की कोशिश करेगी.

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क्या है आरोप?

सूत्रों के मुताबिक एजेंसी का कहना है कि इन हस्तियों ने महादेव ऐप का प्रचार किया था और कुछ ने विदेश में आयोजित महादेव ऐप के प्रमोटर की शादी में मेहमानों का मनोरंजन किया था. कपूर को पेश होने के लिए कहने के बाद, सूत्रों ने बुधवार को कहा था कि मामले में लगभग 14-15 अन्य हस्तियां ईडी की जांच के दायरे में हैं और उन्हें भी जल्द ही तलब किया जाएगा.

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क्या है छत्तीसगढ़ कनेक्शन?

कंपनी के प्रमोटर सौरभ चंद्राकर और रवि उप्पल छत्तीसगढ़ के भिलाई से हैं और महादेव ऑनलाइन बुक सट्टेबाजी एप्लिकेशन एक प्रमुख सिंडिकेट है जो अवैध सट्टेबाजी वेबसाइटों को सक्षम करने के लिए ऑनलाइन प्लेटफार्मों की व्यवस्था करता है. सौरभ चंद्राकर और रवि उप्पल द्वारा प्रवर्तित कंपनी दुबई से संचालित की जा रही है. एजेंसी ने आरोप लगाया है कि यह कथित तौर पर नए यूजर को नामांकित करने, आईडी बनाने और बेनामी बैंक खातों के एक स्तरित वेब के माध्यम से मनी लॉन्ड्रिंग करने के लिए ऑनलाइन बुक सट्टेबाजी एप्लिकेशन का उपयोग कर रहा था.

 

विज्ञापनों में भी किया भारी खर्च

अधिकारियों ने कहा कि ईडी की जांच से पता चला है कि महादेव ऑनलाइन बुक ऐप संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) के एक केंद्रीय प्रधान कार्यालय से चलाया जाता है. एजेंसी ने कहा था कि यह अपने ज्ञात सहयोगियों को 30 फीसदी लाभ देता है. इसमें कहा गया था कि सट्टेबाजी की आय को विदेशी खातों में भेजने के लिए बड़े पैमाने पर हवाला ऑपरेशन किए जाते हैं.  इसके अलावा नए यूजर और फ्रेंचाइजी (पैनल) चाहने वालों को आकर्षित करने के लिए सट्टेबाजी वेबसाइटों के विज्ञापन के लिए भारत में नकद में भी भारी खर्च किया गया है.

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