छत्तीसगढ़ चुनाव: हिमंत का आरोप- बघेल ने सनातन को कमजोर करने के लिए राज्य में खोला धर्मांतरण का बाजार

अरविंद यादव

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Himanta Biswa Sarma Attacks on Bhupesh Baghel- असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा (Himanta Biswa Sarma) ने गुरुवार को अपने छत्तीसगढ़ समकक्ष भूपेश बघेल (Bhupesh Baghel) पर निशाना साधते हुए उन पर सनातन धर्म को कमजोर करने के लिए राज्य में “धर्मांतंरण का बड़ा बाजार” खोलने का आरोप लगाया. साथ ही उन्होंने कहा कि भूपेश बघेल ने छत्तीसगढ़ में कुछ नही किया सिर्फ दारू की नई दुकानें खोली हैं.

चुनावी राज्य के महासमुंद शहर में एक सार्वजनिक रैली को संबोधित करते हुए, भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता ने लोगों से छत्तीसगढ़ में भाजपा को चुनने का आग्रह किया ताकि डबल इंजन सरकार राज्य के विकास के लिए काम कर सके.

उन्होंने राहुल गांधी पर भी निशाना साधते हुए कहा कि कांग्रेस नेता कभी भी अयोध्या में राम मंदिर नहीं गए.

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सरमा की रैली महासमुंद जिले के चार निर्वाचन क्षेत्रों- महासमुंद, खल्लारी, बसना और सरायपाली से भाजपा उम्मीदवारों के नामांकन दाखिल करने से पहले आयोजित की गई थी.

 

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‘कांग्रेस ने पांच सालों में क्या दिया?’

सरमा ने कहा, “…हमें इस बारे में सोचना होगा कि छत्तीसगढ़ को किस स्थिति में ले गई है. हमें सोचना चाहिए कि कांग्रेस ने (पिछले) पांच वर्षों में क्या दिया है. क्या उन्होंने (सीएम बघेल) पांच वर्षों में कोई विश्वविद्यालय खोला है? असम में, प्रत्येक जिले में मेडिकल कॉलेज स्थापित किए गए हैं. राज्य (छत्तीसगढ़)में कोई बुनियादी परिवर्तन नहीं हुआ है.  बघेल हर बार नाटक करते हैं और उन्होंने सनातन धर्म को कमजोर करने के लिए धर्मांतरण का एक बड़ा बाजार खोल दिया है.”

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‘बाबर के लोग हो जाएंगे नाराज…’

कांग्रेस पर निशाना साधते हुए उन्होंने कहा कि भारत को आजादी मिले 75 साल बीत गए, लेकिन वह पीएम नरेंद्र मोदी ही हैं जिन्होंने आखिरकार (अयोध्या में) राम मंदिर का निर्माण कराया. उन्होंने पूछा कि कांग्रेस इतने वर्षों में मंदिर बनाने में क्यों विफल रही.

उन्होंने कहा,  “केंद्र में कांग्रेस शासन के तहत प्रधानमंत्रियों ने राम मंदिर का निर्माण क्यों नहीं किया और (ऐसा करने के लिए) प्रधानमंत्री मोदी जी का इंतजार क्यों किया? ऐसा इसलिए है क्योंकि कांग्रेस की भगवान राम के प्रति कोई भक्ति नहीं है और उनके नेताओं ने हमेशा बाबर की पूजा की है.”

उन्होंने कहा, “मैंने पिछले 3-4 वर्षों में कभी किसी कांग्रेस नेता को राम मंदिर जाते नहीं देखा. राहुल गांधी चुनावों के दौरान मंदिरों में जाते हैं, लेकिन वह राम मंदिर (अयोध्या में) नहीं जाते क्योंकि उन्हें डर है कि बाबर के लोग नाराज हो जाएंगे और गाली देंगे.”

 

कर्जमाफी पर कही ये बात

उन्होंने छत्तीसगढ़ में किसानों की कर्जमाफी के वादे को लेकर कांग्रेस सरकार पर निशाना साधा और कहा कि कांग्रेस ने पिछले चुनाव में भी यही वादा किया था, लेकिन इसे पूरी तरह से पूरा नहीं किया.

उन्होंने कहा,  “राज्य में किसानों को कर्ज क्यों लेना पड़ा? ऐसा इसलिए है क्योंकि उनके बच्चों के पास नौकरी नहीं है. बघेल सरकार को रोजगार पैदा करने के लिए काम करना चाहिए था.”

90 सदस्यीय छत्तीसगढ़ विधानसभा के लिए चुनाव दो चरणों – 7 और 17 नवंबर को होंगे.

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